नई दिल्ली। महाराष्ट्र के ठाणे ज़िले में स्थित भिवंडी में एक बिल्डिंग गिरने के दर्दनाक हादसे में 40 से अधिक लोगों की जान अब तक जा चुकी है। इसको लेकर कंगना ने एक बार फिर महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे, बीएमसी और सांसद संजय राउत पर निशाना साधा है। कंगना ने कहा कि अगर सरकार उनके घर के बजाए इधर ध्यान देती तो यह मासूम जानें बच सकती थीं।
बता दें कि सोमवार (21 सितम्बर) तड़के भिवंडी में एक तीन मंज़िला इमारत का एक हिस्सा ढह गया था, जिसमें कई जानें चली गयीं। मृतकों की संख्या अब 41 पर पहुंच गयी है। इसको लेकर कंगना ने ट्वीट किया- उद्धव ठाकरे, संजय राउत, बीएमसी, जब मेरा घर ग़ैरक़ानूनी तरीक़े से तोड़ रहे थे, उस वक़्त उतना ध्यान इस बिल्डिंग पर दिया होता तो आज ये लगभग पचास लोग जीवित होते। इतने जवान तो पुलवामा में नहीं मरे, जितने मासूमों को आपकी लापरवाही मार गयी। भगवान जाने क्या होगा मुंबई का।
बता दें कि 9 सितम्बर को बीएमसी ने कंगना रनोट के ऑफ़िस में अवैध निर्माण को लेकर तोड़फोड़ की थी। कंगना का ऑफ़िस मुंबई के पॉश इलाके पाली हिल में स्थित है। यह एक आवासीय दफ़्तर है। कंगना ने इसके ख़िलाफ़ बॉम्बे हाई कोर्ट में याचिका डाली थी, जिसके बाद उन्हें स्टे मिल गया है।
कंगना ने बीएमसी से 2 करोड़ रुपये हर्जाना भी मांगा है। वहीं, उच्च न्यायलय ने सांसद संजय राउत और बीएमसी के अधिकारी को पक्षकार बनाने का निर्णय लिया है। दरसअल, कंगना के ऑफ़िस में तोड़फोड़ के बाद शिव सेना के मुखपत्र सामना ने लिखा था उखाड़ लिया।
इससे पहले कंगना ने संजय राउत के साथ बयानबाज़ी के दौरान सोशल मीडिया में लिखा था- मुंबई आ रही हूं। जो उखाड़ना हो, उखाड़ लेना। माना जा रहा है कि उच्च न्यायालय ने सामना में आयी उसी टिप्पणी को बीएमसी की कार्रवाई से जोड़ते हुए संजय राउत को पक्षकार बनाने का फ़ैसला किया।